भारतीय जनता पार्टी ने सामान्य वर्ग के दावेदारों को ठेगा दिखाते हुए दिलीप जायसवाल को थमाया विधानसभा का टिकट भाजपा के अन्य दावेदारों के चेहरे से मुस्कान गायब भोपाल में विरोध की तैयारी शुरू

भारतीय जनता पार्टी ने सामान्य वर्ग के दावेदारों को ठेगा दिखाते हुए दिलीप जायसवाल को थमाया विधानसभा का टिकट भाजपा के अन्य दावेदारों के चेहरे से मुस्कान गायब भोपाल में विरोध की तैयारी शुरू अनूपपुरl भारतीय जनता पार्टी ने जिले के कोतमा विधानसभा सीट पर भारतीय जनता पार्टी के पूर्व विधायक और 2013 के विधानसभा चुनाव में भाजपा के टिकट पर कोतमा से चुनाव लड़े लेकिन हार चुके दिलीप जायसवाल को एक बार दोबारा चुनावी मैदान में उतार दिया है 2023 के विधानसभा चुनाव में अब दिलीप जायसवाल भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी होंगे लेकिन अभी भारतीय जनता पार्टी के अंदर खाने से जो खबरें निकाल कर आ रही है वह इस बात की तरफ साफ-साफ संकेत दे रही है कि दिलीप जायसवाल के नाम घोसड़ा होने के बाद कोतमा विधानसभा के सामान्य वर्ग के प्रत्याशियों में मायूसी की लहर छा गई है यहां पर यह बता दिया जाए की तमाम अटकलो चर्चाओं को विराम देते हुए भारतीय जनता पार्टी ने सोमवार की देर शाम अपनी दूसरी सूची घोषित की जिसमें अनूपपुर जिले के कोतमा विधानसभा से दिलीप जायसवाल को आगामी विधानसभा चुनाव में भाजपा का प्रत्याशी बनाया गया हैl दिलीप जायसवाल इसके पहले एक बार यहां से भारतीय जनता पार्टी के विधायक रह चुके हैं वही 2018 के विधानसभा चुनाव में भी वह भारतीय जनता पार्टी के प्रत्याशी बनाकर चुनाव मैदान में थे लेकिन उन्हें कांग्रेस के सुनील सराफ के हाथों करारी हार का सामना करना पड़ा था l यहां पर यह बता दिया जाए की 2023 के विधानसभा चुनाव में यहां से किसी सामान्य वर्ग के प्रत्याशी को लेकर जनता में काफी उत्साह था और आम लोगों का भी मानना था कि 2013 और 2018 के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने पिछड़ा वर्ग के प्रत्याशी को उतार कर लगातार दो भाग चुनाव हार चुकी है जिसके कारण वह इस बार सामान्य वर्ग के किसी प्रत्याशी को मैदान में उतरेगीl लेकिन भारतीय जनता पार्टी ने तमाम सर्वे जो ग्राउंड रिपोर्ट को किस तरह से आधार बनाकर दिलीप जायसवाल को टिकट दिया है यह किसी के समझ में नहीं आ रहा हैl यहां तक की भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ताओं में भी सूची के जारी होने के बाद वह उत्साह नहीं देखा जा रहा है जो होना चाहिए फिलहाल अभी अनूपपुर के राजनीतिक गलियारों में इस सूची को लेकर विश्लेषण तर्क वितर्क शुरू हो चुका है अनूपपुर के अधिकतर राजनीतिक विश्लेषण को का कहना है कि भारतीय जनता पार्टी ने 2013 और 2018 के चुनाव में पिछड़ा वर्ग के प्रत्याशी को उतार कर कांग्रेस के हाथों पटकनी खा चुकी है ऐसे में 2023 के चुनाव में पिछड़े वर्ग के प्रत्याशी पर दाव लगाना आम जनता को दूर भारतीय जनता पार्टी के नेताओं की भी समझ में नहीं आ रहा है फिलहाल अभी तुरंत कोई भी प्रतिक्रिया या विश्लेषण नहीं किया जा सकता लेकिन यह जरूर कहा जा सकता है कि भारतीय जनता पार्टी के लिए कहीं यह निर्णय समूचे शहडोल संभाग की ऑठो सीटों को प्रभावित न कर दे फिलहाल कोतमा के सामान्य वर्ग के दावेदारों के चेहरों से मुस्कान गायब हो चुकी है और बताया जा रहा है कि सभी दावेदारी समय भोपाल में मौजूद है और इस सूची में दिलीप जायसवाल के नाम का विरोध करने की तैयारी में लगे हैंल