समय पर शिकायत का निराकरण न करने वाले अधिकारियों पर कलेक्टर ने गिरायी गाज

समय पर शिकायत का निराकरण न करने वाले अधिकारियों पर कलेक्टर ने गिरायी गाज
अनूपपुर। प्रदेश सरकार जहां शिकायतो को लेकर कड़े रूख अपना रहीं समय से शिकायतों का निराकरण नही करने पर सजा के रूप में जुर्माना लगाया जा रहा हैं, वहीं कर्मचारियों के वेतन रोकने के आदेश भी दिये जा रहें। लोक सेवा प्रबंधन के तहत सीएम हेल्पलाईन में प्राप्त शिकायतों को समय से निराकरण न करने पर 12 जनवरी को कलेक्टर सोनिया मीना ने 9 विभागों के 16 अधिकारियों पर 8 हजार 4 सौ का सजा सहित जुर्माना लगाया हैं। जिसमे 2 नगरीय विकास एवं आवास विभाग, 3 पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, 1 महिला बाल विकाश विभाग, 2 राजस्व विभाग, 2 लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग, 1 वाणिज्य कर विभाग, 3 अधिकारी ऊर्जा विभाग एवं जल संसाधन विभाग से 1 अधिकारी शामिल हैं। जिन्हें जुर्माना की राशि जिला रेडक्रास सोसायटी के खाता में जमा कराते हुए जमा राशि की पावती कलेक्ट्रेट स्थित लोक सेवा प्रबंधन कार्यालय में उपलब्ध कराने के निर्देश दिए गए हैं। जिले में लोक सेवा प्रबंधन के तहत सीएम हेल्पलाईन में प्राप्त शिकायतों को समय से निराकरण न करने पर कलेक्टर सोनिया मीना ने सोमवार को 8 विभागों के 16 अधिकारियों पर 8 हजार 4 सौ का सजा सहित जुर्माना लगाया हैं। जिसमें नगरीय विकास एवं आवास विभाग से से मुख्या नपाधिकारी बिजुरी सुषमा मिश्रा पर 8 प्रकरण एवं बनगंवा (राजनगर) नपाधिकारी राजेन्द्र कुशवाहा पर 1 प्रकरण, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग के तीन जनपद पंचायतों के अधिकारी जपं अनूपपुर उषा किरण गुप्ता पर 3, जपं जैतहरी विरेन्द्रमणि मिश्रा पर 3 एवं जपं राजेन्द्राग्राम के राजेन्द्र प्रसाद त्रिपाठी पर4 प्रकरण निराकरण न कर पाने पर जुर्माना ल्राया गया हैं। इसी तरह से जल संसाधन विभाग के कार्यपालन यंत्री जगमोहन दास मंझी पर 1 प्रकरण, राजस्व विभाग से तहसीलदार कोतमा ईश्वर प्रधान पर 3 प्रकरण एवं तहसीलदार पुष्प रागढ़ टीआर नाग पर 2 प्रकरण, लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग के खण्ड चिकित्सात अधिकारी कोतमा डॉ. मनोज सिंह पर 1 प्रकरण एवं सिविल सर्जन डॉ एसआर परस्तेल पर 3, वाणिज्य कर विभाग की जिला आबकारी अधिकारी सवित्री भगत पर 2 प्रकरण, ऊर्जा विभाग के कनिष्ठ अभियंता अमरकंटक विवेक चैहान पर 5 प्रकरण, कनिष्ठ अभियंता अनूपपुर संतोष प्रजापति एवं कनिष्ठ अभियंता कोतमा खीर सागर पर 1-1 प्रकरण शामिल हैं।