जिला चिकित्सालय अनूपपुर में जनवरी माह में संस्थागत 268 प्रसव कराए गए


अनूपपुर/मध्यप्रदेश में संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देने और मातृ- शिशु मृत्यु दर को कम करने के लिए कई प्रयास किए जा रहे हैं. केंद्र के साथ ही राज्य सरकार भी विभिन्न योजनाएं चला रही है. जननी सुरक्षा योजना, मातृ वंदना योजना और संबल योजना के जरिए गर्भवती महिलाओं के प्रसव से लेकर प्रसव के बाद तक लाभ दिया जाता है । जिला स्वास्थ्य अधिकारी डॉक्टर आर पी सोनी ने बताया कि शासन द्वारा चलाए जा रहे योजनाओं का लाभ निरंतर जिला की जननी माता को मिल रहा है ।जिसके कारण अनूपपुर जिला चिकित्सालय में संस्थागत प्रसव की संख्या दिनों दिन बढ़ रही है। जिला चिकित्सालय मैं पदस्थ स्त्री रोग विशेषज्ञ महिला डॉक्टर श्रीमती अलका तिवारी (डी जी ओ ) डॉक्टर सोषन खेस (एम डी गायनी ) एवं डॉक्टर अमिता सिंह (एम वी बी स) के द्वारा 2024 के जनवरी माह में  ही जिला चिकित्सालय में 268 प्रसव कराए गए जिसमें 209 नॉर्मल एवं सीजर ऑपरेशन से 59 डिलीवरींयां कराई गई ।जिला चिकित्सालय में आई प्रसूति माताओ को जरूरत पड़ने पर  83 यूनिट ब्लड दिया गया। डॉक्टर सोनी ने आगे बताया कि संबल योजना के अंतर्गत प्रसूता सम्मान योजना के तहत 16 000रुपये प्रथम डिलीवरी प्रांत दिया जाता है  और जननी सुरक्षा योजना (जेएसवाई) राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन के तहत एक सुरक्षित मातृत्व हस्तक्षेप है। इसे गरीब गर्भवती महिलाओं के बीच संस्थागत प्रसव को बढ़ावा देकर मातृ एवं नवजात मृत्यु दर को कम करने के उद्देश्य से लागू किया गया है। जेएसवाई एक केंद्र प्रायोजित योजना है, जो डिलीवरी और डिलीवरी के बाद की देखभाल के साथ नकद सहायता को एकीकृत करती है। योजना ने मान्यता प्राप्त सामाजिक स्वास्थ्य कार्यकर्ता (आशा) को सरकार और गर्भवती महिलाओं के बीच एक प्रभावी कड़ी के रूप में पहचाना है।और जे एस वाई योजना के अंतर्गत संस्थागत प्रसव कराने वाली प्रसूता महिला को 1400 की राशि दी जाती है