आर एन टेडर्स जैतहरी के नाम लाखों के फर्जी भुगतान,पडरिया से ले कर कई पंचायतों में लाखों के फर्जी भुगतान,आज भी जारी फर्जी भुगतान 
अनूपपुर - जनपद पंचायत जैतहरी में  फर्जी वेंडरों की भरमार है और अब इसी फर्जीवाड़े में एक नया नाम सामने आया है जिसको लगातार फर्जी बिलों के माध्यम से लगातार लाखों के भुगतान सचिवों के द्वारा किये जा रहे है अब जनपद स्तर पर तो इन फर्जी वेंडरों पर कार्यवाही होती दिख नही रही तो ऐसे में आखिर कौन कार्यवाही करेगा अपने आप मे सवालिया निशान है ,जिला पंचायत के सीईओ तन्मय वशिष्ठ भृष्टाचार रोकने की लगातार बात कर रहे है पर पूरे जिला पंचायत और पंचायती राज को खुली चुनौती है कि इस फर्जी वेंडर और भुगतान करने वालों पर कार्यवाही कर के बताये चूंकि अब तक जिला पंचायत सीईओ की तरफ से लगातार पंचायतों में फैले भृष्टाचार पर रोक लगाने की बात सामने आ रही थी फिर आखिरकार ये भृष्टाचार कैसे और किसके संरक्षण में चल रहा है सवालिया निशान खड़े करता है
ग्रामपंचायत पडरिया सहित किन किन पंचायतों में इस फर्जी फर्म के नाम पर लाखों के भुगतान हुए उनकी पूरी कहानी आपको अगले एपिसोड में बताएंगे फिलहाल आज तो आप देख लीजिए पडरिया पंचायत में किस तरह से आर एन टेडर्स के नाम पर कब कब कितने फर्जी बिलों से भुगतान किए गए जबकि इस फर्म का न तो जीएसटी नंबर है ,न तो फर्म के प्रोपाइटर का पता है न तो एड्रेस सही है और न ही बिलों में किसी प्रकार का डिटेल है कि आखिर भुगतान प्राप्त करने वाला आखिर है कौन किसको ये सचिव महोदय लगातार भुगतान कर रहे है,अब जरा गौर करिये पडरिया पंचायत में कब कब कितना भुगतान आरएन टेडर्स को किया गया दिनांक 10,06,2024 को 10800,दिनांक 15,02,24 को 21450,दिनांक 2,02,24 को 9000,दिनांक 26,10,23 को 21950,6000,20000,20000,20000 को इस तरह से एक पंचायत में फर्जी बिलों के माध्यम से भुगतान किया गया ऐसे ही कई लाखों के भुगतान अन्य पंचायतों में किये गए जिसका खुलासा हम जल्द करेंगे आर एन टेडर्स जैतहरी का पीआरडी में जो वेंडर आईडी जनरेट की गई उसका आईडी नंबर 3008740 है और इसके पीछे न तो फर्म का नाम,न प्रोपाइटर का नाम,न एड्रेस,न जीएसटी नंबर उसके बावजूद लगातार फर्जी तरीके से भुगतान होना ये बताता है कि कुछ सचिवों ने इस तरीके से फर्जी वेंडर बनवा रखे है अपने चहेतों के नाम पर और उसे भुगतान कर उसका कमीशन बतौर कुछ रकम उसको दे कर बांकी का पैसा स्वयं डकार रहे है और अगर जिला पंचायत के मुख्य कार्यपालन अधिकारी तन्मय वशिष्ट इस पूरे मामले की जांच करवा लें तो फर्जी बिलों से भुगतान करने और प्राप्त करने वाले दोनों सलाखों के पीछे होंगे सरकारी पैसों का बंदरबांट कैसे होता है इसकी खुली किताब है आरएन टेडर्स,इस पूरे मामले में हमने जनपद से भी जानकारी चाही पर काफी प्रयास करने के बावजूद भी इस वेंडर से सम्बंधित कोई जानकारी हमे उपलब्ध नही हो सकी या यूं कहा जाये कि कोई जानकारी देना लाजमी नही समझा
इनका कहना है
आप मुझे डिटेल भेज दें मैं चेक करवा लेता हूँ अगर ऐसा कुछ है तो सम्बन्धितों के खिलाफ कार्यवाही सुनिश्चित की जाएगी
तन्मय वशिष्ट मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला पंचायत अनूपपुर