अनंत चतुर्दशी की खास धार्मिक मान्यता होती है। इस दिन भक्त प्रभु श्री विष्णु (Lord Vishnu) के लिए व्रत रखकर पूजा करते हैं। हिंदू पंचांग के मुताबिक, भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी तिथि पर अनंत चतुर्दशी का व्रत रखा जाता है।

अनंत चतुर्दशी को अनंत चौदस के नाम से भी जाना जाता है। माना जाता है कि अनंत चतुर्दशी का व्रत रखने पर श्रद्धालुओं के जीवन से आर्थिक, मानसिक और शारीरिक कष्ट दूर हो जाते हैं। इसके अलावा मुक्ति पाने के लिए भी इस व्रत को रखा जा सकता है।

भक्त आशा करते हैं कि प्रभु श्री विष्णु उनके जीवन को सुखमय बना देंगे। इस वर्ष पंचांग के मुताबिक, चतुर्दशी तिथि 28 सितंबर के दिन पड़ रही है तथा इसका समापन 28 सितंबर की ही शाम 6 बजकर 49 मिनट पर हो जाएगा। अनंत चतुर्दशी पर पूजा (Anant Chaturdashi Puja) का प्रातः मुहूर्त 28 सितंबर के दिन प्रातः 6 बजकर 12 मिनट से शाम 6 बजकर 49 मिनट तक कहा जा रहा है। वही अनंत चतुर्दशी के दिन ही गणपति विसर्जन किया जाता है। इसके साथ ही कुछ खाना वर्जित रहता है।

इस दिन ना खाएं नमक:
अनंत चतुर्दशी का दिन बहुत शुभ माना जाता है क्योकि इस दिन प्रभु श्री गणेश का विसर्जन किया जाता है। किन्तु इस दिन नमक वर्जित रहता है, जो लोग व्रत रखते है वो तो नमक नहीं ही खाएंगे, किन्तु जो व्रत नहीं करने वाले भी नमक का सेवन बिल्कुल नहीं करे। इससे पूरे परिवार पर नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।