दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा ने टेक्निकल सपोर्ट के नाम अमेरिकी नागरिकों को चाइल्ड पोर्नोग्राफी में फंसाने की धमकी देकर वसूली करने वाले फर्जी कॉल सेंटर का खुलासा किया है। पुलिस ने इस संबंध में कॉल सेंटर के दो पार्टनर व दो सुपरवाइजर समेत कुल 18 लोगों को गिरफ्तार किया है। आरोपी विदेश में बैठे पीड़ितों को गिफ्ट कार्ड खरीदवाकर बिटकॉइन में पेमेंट करवाते थे। इनके निशाने पर अमेरिका के अमीर नागरिक होते थे। पुलिस ने आरोपियों के पास से 14 लैपटॉप, 36 मोबाइल फोन, डेढ़ लाख कैश, दो राउटर और एक डोंगल बरामद किया है। पुलिस को मामले में कई अन्य आरोपियों की तलाश है। अपराध शाखा के विशेष आयुक्त रविंद्र सिंह यादव ने बताया कि उनकी टीम को सूचना मिली कि वसंतकुंज इलाके में एक फर्जी कॉल सेंटर चलाकर अमेरिकी नागरिकों के साथ ठगी की जा रही है। आरोपी गूगल पर टेक्निकल सपोर्ट देने के नाम पर पीड़ितों को अपने जाल में फंसा रहे हैं। पुलिस ने सूचना के बाद एक टीम का गठन किया। इसके बाद वहां छापेमारी की। पुलिस ने कॉल सेंटर से 14 टेली कॉलर को दबोच लिया। यह सभी विदेशी नागरिकों को अपने जाल में फंसाने में व्यस्त थे। सभी लैपटॉप की मदद से पीड़ितों से बात कर रहे थे। इनके पास से लैपटॉप, मोबाइल व अन्य सामान बरामद हुआ। कॉल सेंटर से दो सुपरवाइजर व एक पार्टनर को गिरफ्तार किया गया। आरोपियों की पहचान लुधियाना निवासी अरमान, रणवीर सिंह, रविंदर सिंह (28) के रूप में हुई है। रणवीर कॉल सेंटर का मालिक है। वह अमन दुग्गल और मनिंदर सिंह उर्फ सोनू के साथ मिलकर कॉल सेंटर चला रहा था। इन लोगों ने टेलीकॉलर को सैलरी पर रखा हुआ था।

ऐसे दिया जा रहा था वारदात को अंजाम

आरोपियों ने बताया कि टेक्निकल सपोर्ट के नाम पर अमेरिकी नागरिक आरोपियों से ऑन लाइन मदद मांगते थे। आरोपी पीड़ितों के सिस्टम की जांच करने के बाद कहते थे कि उनके लैपटॉप को किसी ने हैक कर लिया गया था और उसमें चाइल्ड पोर्नोग्राफी को डाउनलोड किया गया है। अमेरिकी में यह बड़ा अपराध है। आरोपी पीड़ितों को फंसाने का डर दिखाकर उनसे जबरन गिफ्ट कार्ड खरीदवाकर बिटकॉइन के जरिये पेमेंट करवा लेते थे। बाद में इन बिटकॉइन को कैश कर लिया जाता था। मनिंदर सिंह, अमन दुग्गल और रणवीर अपना-अपना हिस्सा रख लेते थे। रविंदर और अरमान सुपरवाइजर थे। इनको दो और चार फीसदी कमीशन दे दिया जाता था। सोनू, अमन और रणवीर ने वसंतकुज की जगह पंजाबी बाग के जसवंत जैन से पांच साल के लिए किराए पर ली हुई थी। पुलिस को मामले में मनिंदर सिंह की तलाश है।

कौन हैं पकड़े गए आरोपी

अमन दुग्गल मूलरूप से दिल्ली का रहने वाला है। उसने बीकॉम करने के बाद दिल्ली में कई कॉल सेंटर में काम किया। इसके बाद वह मनिंदर के साथ मिलकर जालसाजी करने लगा। मूलरूप से लुधियाना का रहने वाला रणवीर बीकॉम पास है। वह गोवा में प्राइवेट नौकरी करता था, लेकिन बाद में ठगी करने लगा। रविंदर इसका बड़ा भाई है। उसने चंडीगढ़ विश्वविद्यालय से होटल मैनेजमेंट का कोर्स किया है। वह कनाडा भी रहकर आया था। वर्ष 2022 से वह अपने भाई के साथ इसी धंधे में लिप्त है। मूलरूप से लुधियाना का रहने वाले अरमान ने पत्रकारिता की पढ़ाई की हुई है। वह अपने दोस्त रणवीर के साथ दिल्ली आया था। बाद में वह धोखाधड़ी करने लगा।