मयूर भवन सभागार में चित्रकूटधाम मण्डल स्तरीय कृषि निर्यात की एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन

बांदा आयुक्त चित्रकूटधाम मण्डल, बांदा आर0पी0सिंह की अध्यक्षता में मयूर भवन सभागार में चित्रकूटधाम मण्डल स्तरीय कृषि निर्यात की एक दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया गया। कार्यशाला में उपस्थित प्रगतिशील किसानों/कृषि वैज्ञानिकों तथा कृषि निर्यात से जुडे लोगों को सम्बोधित करते हुए मण्डलायुक्त ने कहा कि उ0प्र0 कृषि निर्यात नीति-2019 के अन्तर्गत प्रगतिशील कृषकों/एफपीओ/एनजीओ एवं निर्यातकों तथा अन्य हितकारी धारकों की क्षमता निर्माण एवं जागरूकता हेतु इस कार्यशाला का आयोजन किया गया है, जिससे किसानों एवं अन्य कृषि उत्पादन से सम्बन्धित निर्यातकों को जानकारी होगी। उन्होंने कृृषि निर्यात से सम्बन्धित इस प्रकार की त्रैमासिक मण्डल स्तरीय गोष्ठी का आयोजन करने के निर्देश दिये।
उन्होंने कहा कि किसानों की आय को बढाने हेतु कृषि निर्यात नीति लागू की गयी है, जिससे कि कृषि उत्पादों का निर्यात कर किसानों को अच्छा मूल्य मिल सके। उन्होंने अधिक से अधिक प्रगतिशील किसानों को कृषि निर्यात हेतु जागरूक कर उनको एफपीओ के माध्यम से जोडने एवं सरकार द्वारा संचालित की गयी कृषि निर्यात नीति का लाभ प्राप्त करने हेतु जागरूकता लाने के निर्देश दिये। आयुक्त ने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा कृषि उत्पाद निर्यात को बढावा देने के लिए नये ढाचें की व्यवस्था करना, कृषि फसलों एवं उत्पादों के निर्यात की क्षमता का सदुपयोग करना तथा किसानों एवं अन्य हितधारक की आय पर्याप्त रूप से बढाना है। उन्होंनेे सरकार द्वारा निर्यात नीति को प्रोत्साहन देने के लिए अनुदान के सम्बन्ध में बताया कि नयी स्थापित प्रसंस्करण ईकाई/शीतगृह पैक हाउस आदि में कृषि जीन्सों का क्रय कर मौलिक रूप से 40 प्रतिशत निर्यात करने पर निर्यात के टर्नओवर के 10 प्रतिशत अथवा रू0 25 लाख जो भी कम हो, निर्यात प्रारम्भ करने के 1 वर्ष से 05 वर्ष तक वार्षिक गणना के आधार पर प्र्रतिवर्ष दिया जाता है। उन्होंने कहा कि निर्यातक इन योजनाओं का लाभ प्राप्त करें। उन्होंने प्र्राकृतिक एवं जैविक खेती को बढाने तथा बेहतर एवं गुणवत्तायुक्त फसल उत्पादन पर जोर दिया, जिससे कि उनके कृषि उत्पादों का निर्यात करने पर उन्हें लाभ प्राप्त हो सके।
गोष्ठी में दिनेश शाह ने कृषि विश्वविद्यालय बांदा ने निर्यात योग्य कृषि उत्पाद तैयार करने के लिए अच्छी कृषि पद्धतियों पर जानकारी दी एवं गुणवत्तायुक्त बीज का प्रयोग करने तथा मोटे अनाज का उत्पादन करने पर जोर दिया।  आशीष कुमार डिस्ट्रिक क्वार्डिनेटर ने देशी एवं जैविक/प्राकृतिक पद्धति से तैयार किये गये उत्पादोें का अन्तर्राष्ट्रीय बजार में बढावा दने के सम्बन्ध मेें बताया।  अनिल तिवारी नेे कृषि निर्यात कैसे आरम्भ करें उसकी प्रक्रिया तथा कृषि निर्यात के सम्बन्ध में गुणवत्तायुक्त उत्पाद तथा माल की आपूर्ति व बाजार में मांग तथा अन्य प्रक्रिया के सम्बन्ध में विस्तृत रूप से जानकारी दी। सहायक विपणन अधिकारी ने एफपीओ को स्वतंत्र रूप से कार्य करने पर जोर देेते हुए प्राकृतिक खेती के अन्तर्गत प्रत्येक विकास खण्ड में पाॅच-पाॅच ब्लाकों का कलस्टर बनाये जाने पर जोर दिया। कृषि वैज्ञानिक डाॅ0 कमालुद्दीन ने मोटे अनाजो अन्न को जीआई टैग दिलवाने हेतु तथा कृषि निर्यात में बढावा देने हेतु फसलों को गुणवत्तायुक्त तैयार करने पर जोर दिया, जिससे कि उत्पादों का बेहतर मूल्य मिल सके।
गोष्ठी मेें मुख्य विकास अधिकारी  वेद प्रकाश मौर्य,  प्रखर कुमार  जेष्ठ कृषि विपणन निरीक्षक झांसी, गंगा दयाल सहायक कृषि विपणन निरीक्षक झांसी, राज सिंह कृषि विपणन निरीक्षक, विन्द कुमार कृषि निर्यात विभाग उपस्थित रहे।